सिंगरौली।
हाल ही में ट्रामा सेंटर निरीक्षण के दौरान कलेक्टर, एसपी और विधायक सिंगरौली द्वारा सिविल सर्जन की कुर्सी पर न बैठने को लेकर सोशल मीडिया पर कुछ भ्रामक बातें फैलाई जा रही हैं। लेकिन हकीकत यह है कि इन तीनों वरिष्ठ अधिकारियों ने संवैधानिक मर्यादा और प्रशासनिक शिष्टाचार का उत्कृष्ट उदाहरण प्रस्तुत किया।सरकारी प्रोटोकॉल के अनुसार, किसी संस्थान में निरीक्षण के दौरान उस संस्था प्रमुख की कुर्सी पर अन्य व्यक्ति का बैठना उचित नहीं माना जाता। कलेक्टर और विधायक उच्च पद पर होते हुए भी उन्होंने डॉक्टर को सम्मान देते हुए नियमों का पालन किया।इस सकारात्मक आचरण की आलोचना नहीं, सराहना होनी चाहिए।समाज को अफवाह नहीं, जानकारी के आधार पर नेतृत्व का मूल्यांकन करना चाहिए।
सिंगरौली से मर्यादा की मिसाल: निरीक्षण के दौरान सिविल सर्जन की कुर्सी पर नहीं बैठे कलेक्टर, एसपी और विधायक
